छत्तीसगढ़ कौशल न्युज धमतरी:- जिले में औषधीय फसलों के संवर्धन और जागरूकता के लिए जिला प्रशासन द्वारा सतत् प्रयास किए जा रहे हैं। इसी कड़ी मे...
धमतरी:- जिले में औषधीय फसलों के संवर्धन और जागरूकता के लिए जिला प्रशासन द्वारा सतत् प्रयास किए जा रहे हैं। इसी कड़ी में ग्राम पचपेड़ी की सामुदायिक भूमि पर औषधीय फसलों के लिए एक विशेष प्रदर्शन प्लॉट विकसित किया गया है, जिसका उद्देश्य स्थानीय कृषकों को औषधीय खेती की तकनीकों, लाभों और संभावनाओं से परिचित कराना है। अब तक जिले के 40 से अधिक स्व-सहायता समूहों ने मनरेगा एवं सामुदायिक संसाधनों के माध्यम से मिश्रित वृक्षारोपण के अंतर्गत औषधीय पौधों का रोपण किया है। इस पहल से न केवल हरियाली को बढ़ावा मिल रहा है, बल्कि किसानों को आयवर्धन का नया विकल्प भी उपलब्ध हो रहा है।
आज छत्तीसगढ़ पादप मंडल के मुख्य कार्यपालन अधिकारी श्री जे.ए.सी.एस. राव ने ग्राम पचपेड़ी का दौरा किया। इस अवसर पर कलेक्टर श्री अबिनाश मिश्रा ने जिले में औषधीय खेती के विस्तार की दिशा में की जा रही पहलों की जानकारी दी।
कलेक्टर एवं सीईओ ने बज्ज, ब्राह्मी और लेमनग्रास जैसी औषधीय फसलों के प्रदर्शन क्षेत्र का अवलोकन कर कृषकों को इन फसलों से जुड़ी आर्थिक, औषधीय और विपणन संभावनाओं की जानकारी दी। उन्होंने कहा कि इन फसलों की खेती से किसानों को अतिरिक्त आय के साथ-साथ स्वास्थ्य लाभ भी प्राप्त हो सकते हैं।श्री राव ने बिहान योजना के अंतर्गत स्व-सहायता समूहों द्वारा किए जा रहे प्रयासों की प्रशंसा करते हुए कहा कि धमतरी की यह पहल अन्य जिलों के लिए प्रेरणा का स्रोत बन सकती है। उन्होंने औषधीय फसलों के वैज्ञानिक तरीके से उत्पादन को बढ़ावा देने तथा उन्हें बाजार से जोड़ने पर बल दिया।
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